2.10.12

श्री श्री 1008 श्री शांतिनाथ जी महाराज आज ब्रह्मलीन हो गये ...

  श्री श्री 1008 श्री शांतिनाथ जी महाराज कल रात 2 AM बजे ब्रह्मलीन हुए है और लोग उनके अंतिम दर्शन के लिए कल रात से खड़े है आज पूरा जालौर बंद सा है पुरे रोड पर जाम है यहाँ तक की चिकित्सालय से तिलक द्वार तक श्रद्धालुओ की बड़ी लभी लाइन लगी हुई है पिछले कुछ समय से अस्वस्थ थे। सोमवार रात को आखरी सांस ली पूरे जालौर जिले में शोक की लहर जालौर जिले भर में जन जन के आराध्य और भैरुनाथ अखाड़ा जालोर के पीठाधीश्वर संत शांतिनाथ महाराज का सोमवार शाम को उदयपुर में हृदयघात से ब्रह्मलीन हो गया! उनके निधन का समाचार सूनते ही पूरे जिले और प्रवासियों में शोक की लहर दौड़ गई। उनके भक्त रात को अखाड़े में जुटना शुरू हो गए। दक्षिणी राज्यों से भी अनेक लोग रात को ही रवाना हो गए!

जानकारी के अनुसार कुछ दिन पूर्व उनके स्वास्थ्य में गिरावट के कारण उन्हें उदयपुर भर्ती करवायागया था। जहां सोमवार रात को अचानक हृदय घात से उनका देवलोक हुआ ! जिसके बाद उनका पार्थिव शरीर जालोर के लिए रवाना किया गया! जैसे ही यह समाचार लोगों को मिलना शुरू हुआ! जिले के लोगों सहित और राज्यों जैसे गुजरात, मुंबई, चेन्नई, बैंगलोर, दिल्ली और मैसूर सहित अन्य दक्षिणी राज्यों में प्रवासियों में शोक की लहर दौड़ गई! अनेक लोग रात को ही उनके मठ के लिए रवाना हो गए! सवेरे तक यहां हजारों लोगों की भीड़ जुट गई!

  श्री श्री 1008 श्री शांतिनाथ जी महाराज का जीवन परिचय : -

पीर श्री शांतिनाथ जी अपने कृतित्व और व्यक्तित्व के कारण हर धर्म के लोगों में पुजे जाते हैं! उनके शांत स्वरूप और आकर्षक चित्त की ओर हर कोई बरबस ही आकर्षित हो जाता था! मुस्लिम समाज की ओर से भी उन्हें पीर की उपाधि दी गई। वे सिरे मंदिर और भैरूनाथ अखाड़ा जालोर के पीठाधीश्वर बने! श्री भोलानाथ केब्रह्मलीन होने के बाद विक्रम संवत 2025 में कार्तिक शुक्ल सप्तमी को उन्हें यह गादी मिली। तभी से उनके भक्तों की संख्या बढऩे लगी। 
उनका जन्म जालौर शहर के निकट भागली सिंधलान गांव में श्री रावतसिंह जोरावत के घर विक्रम संवत 1996 में माघ कृष्णा 5 को हुआ। उनके पिता श्री रावतसिंह संतश्री केसरनाथ जी के भक्त थे और उनकी प्रेरणा से उन्होंने अपने बेटे को संन्यास के लिए समर्पित कर दिया। इसके बाद श्री केसरनाथजी ने उन्हें दीक्षित किया और धीरे धीरे श्री शांतिनाथजी जन जन के आराध्य बन गए!
श्री श्री 1008 श्री शांतिनाथ जी महाराज को शत् शत् नमन....सुगना फाउण्डेशन मेघलासिया
आभार 
न्यूज़ भेजने वाले श्री एस.पी.सिंह राजपुरोहितजी


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सवाई सिंह राजपुरोहित आगरा {सदस्य}
सुगना फाऊंडेशन-मेघलासिया जोधपुर
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3 comments:

  1. JAI HO NATHO KE NATH SHANKAR KE AVTAR KI

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  2. शाँतीनाथ जी कि जन्म तारीख चैक करें जय नाथजी री

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