पूज्य संत स्वामी दिनदयाल जी महाराज, सेवा एवं त्याग की प्रतिमूर्ति, जिस सेवाभूमि की हम कई महीनों से परिकल्पना कर रहे है, उनका जीवन इस परिकल्पना का दर्पण है , प्रतिबिम्ब है। पुरे भारत में जिन्होंने कई बड़ी संस्थाओं के सेवा कार्यो को फलीभूत किया है।
आज भी इस कोरोना जैसी महामारी में गोसेवा व जनसेवा में अग्रणी है , स्वंय गोमाता के लिए हरा चारा काट कर लाना उनकी सेवा करना, गाँव व ढाणी में लोगों को प्रेरित कर साथ लेकर गरीब व असहाय लोगों के भोजन सामग्री की व्यवस्था करना , प्रशासन के साथ सहयोग करना ,दिन रात इन कार्यो में स्वयं की चिन्ता किए बिना लगे हुए हैं।
हम आपके स्नेह एवं सेवा भावों को प्रणाम करते हैं । गुरु महाराज जी के चरणों में वंदन आपका यह सेवा भाव देखकर मन प्रफुल्लित हो उठा धन्य है वह माता-पिता जिन्होंने आप को जन्म दिया
Naman Hai Guru Maharaj Ji ko
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